जामनपार के नूनीवाल
अपने पुरखे बताते थे की जमनापार के नुणीवालों का निकास, डुंडाहेडा (गुड़गांव) से हैं ।
तीन भाइयों ने जो तीन ठीकाने वहाँ आबाद करे वो - आपका मोहम्मदपुर धूमी और बहरामपुर (मेरठ ) एवं लाडनपुर (अमरोहा) में हैं..
इसमे एक मजेदार किस्सा बताते हैं की लाडन सिंह सबसे छोटे भाई थे और तुनक मिजाज थे । जब डुंडाहेडा से तीन गाडी चलीं तो एक जहाँ पर आज का धूमि है वहाँ रुकी, दूसरी आगे जहाँ बहराम पुर है वहाँ रुकी और तीसरी जो सबसे बाद में धूमि के पास पहुँची तो बड़ी भाभी ने कहा देवर गाडी थोडा आगे को रोक लियो.
तो तुनकमिजाज दादा लाडन सिंह फिर गंगा पार पहुँच कर ही रुके ..
RAO DHEERAJ NUNIWAL #RDY

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